कहानी

जितनी चीज़ें कृष्ण से छूटीं-उतनी किसी से नहीं छूटीं/बालक कन्हैया या महायोद्धा कृष्ण ?

कभी सूरदास ने एक स्वप्न देखा था कि रुक्मिणी और राधिका मिली हैं और एक दूजे पर न्योछावर हुई जा… Read More

4 months ago

संकट में बाघ /जंगल

अपने स्वार्थों की प्रति जागरूक होना कोई कठिन काम नहीं है। सेवा , दया करुणा जैसे गुणों को कर्तव्य मार्ग… Read More

4 months ago

स्वार्थ की अग्नि

जंगल हमारे लिए कितने अहम हैं ये बाद में मानव जाति समझ पाएगी । अभी वह झूठे अहम में फूल… Read More

4 months ago

वायनाड का ध्वस्त होता अहम

ब्रह्मांड में सब कुछ अपनी सीमा में निहित है । मात्र एक जीव (मनुष्य) जो अपनी नियंत्रण रेखा से बाहर… Read More

5 months ago

साइलेंट वैली जस्टिस

दुष्ट के साथ दुष्टता का ही व्यवहार किया जाना चाहिए। यह नीति कहती है। बुरे कर्मों का परिणाम सदा बुरा… Read More

5 months ago

क्यूँ है महत्वपूर्ण 6 मार्च ? जानिए

1775 की दशक 6 मार्च इतिहासकार , इसकी उलेख में थोडा झलक है .... Read More

10 months ago

वास्तविक जीवन की खोज JAY SADGURU DEV

             सुख शांति और आनन्द रूपी हार क्षणिक सुखों के रूप में परछाई की तरह… Read More

10 months ago