भगवान श्री कृष्ण ने महाभारत के युद्ध में अर्जुन को गीता का उपदेश दिया और इसी उपदेश को सुनकर अर्जुन…
एक बार सात्यकि, बलराम एवं श्रीकृष्ण यात्रा कर रहे थे । यात्रा करते-करते रात हुई तो उन्होंने जंगल में पड़ाव…
ना भगवान,ना गृह-नक्षत्र,ना भाग्य,ना रिश्तेदार,ना पडोसी,ना सरकार,जिम्मेदार आप स्वयं है1) आपका सरदर्द, फालतू विचार का परिणाम2) पेट दर्द, गलत खाने…
एक बार देवर्षि नारद अपने शिष्य तुम्बरू के साथ मृत्युलोक का भ्रमण कर रहे थे। गर्मियों के दिन थे। गर्मी…
बहुत सुन्दर प्रश्न है, यदि हमसे अनजाने में कोई पाप हो जाए तो क्या उस पाप से मुक्ती का कोई…
छोटी लड़की ने गुल्लक से सब सिक्के निकाले और उनको बटोर कर जेब में रख लिया,निकल पड़ी घर से –…
“अनासक्त भाव से कर्म करना”। कर्म के सही स्वरूप का ज्ञान।कर्मयोग दो शब्दों से मिलकर बना है – ‘कर्म’ तथा…
इसे जानने के लिए हमें उस शब्द पर विचार धारा करना है . उसमें प्रकृति और प्रत्यय रूप 2 शब्द…
भरतजी तो नंदिग्राम में रहते हैं, शत्रुघ्न जी महाराज उनके आदेश से राज्य संचालन करते हैं। .एक एक दिन रात करते…
एक ब्राहम्ण था जो भगवान को भोग लगाये बिना खुद कभी भी भोजन नहीं करता था। .हर दिन पहले गोपाल जी…