आरा/भोजपुर| विश्व स्वास्थ्य दिवस के अवसर पर” मेरा स्वास्थ्य मेरा अधिकार” विषय पर भारतीय रेड क्रॉस सोसाइटी में डॉक्टर बी एन यादव की अध्यक्षता में एक गोष्ठी का आयोजन किया गया। आयोजन लोगों के बीच स्वास्थ्य से संबंधित जागरूकता को बढ़ाना व डॉक्टर बी एन यादव ने बताया कि द्वितीय विश्व युद्धके बाद संयुक्त राष्ट्र संघ की स्थापना के बाद छोटी-छोटी समितियां बनाई गई साथ ही विश्व स्वास्थ्य संगठन भी उसमें एक महत्वपूर्ण संगठन बनाया गया।
7 अप्रैल 1947 को हो इसका स्वरूप बना और गठन हुआ इसलिए 7 अप्रैल को ही विश्व स्वास्थ्य दिवस मनाया जाता है। डब्ल्यू एच ओ पूरे विश्व में ग्लोबल स्तर पर स्वास्थ्य से संबंधित जागरूकता को बढ़ाने और सुविधाएं प्रदान करने का कार्य करता है ताकि प्रत्येक देश अपने देश के नागरिकों को उसका लाभ दे सके।डा विजय गुप्ता ने कहा कि वर्तमान वर्ष में पूरे विश्व में डब्लु एच ओ की तरफ से जो थीम दी गई है वह है मेरा स्वास्थ्य मेरा अधिकार। प्रत्येक इंसान का मूलभूत अधिकार स्वस्थ रहना है। मुख्य रूप से आज हमें इस बात पर विशेष ध्यान देना है कि क्लाइमेट को ग्लोबल वार्मिंग से कैसे बचाया जाए।यदि सभी को स्वस्थ रहना है तो अपने आसपास के वातावरण को स्वस्थ रखना ही पड़ेगा जिससे कि स्वयं एवं समाज तथा देश के प्रत्येक व्यक्ति को स्वस्थ रखने में कामयाब बनाया जा सके। उपसंरक्षक श्री लाल दास राय ने कहा की यद्यपि स्वास्थ्य संबंधी सुविधाओं की जानकारी और जागरूकता बढ़ाई जाती रही है पर फिर भी संसाधन की कमी, आर्थिक विपन्नता, सुदूर ग्रामीण क्षेत्रों में अंधविश्वास आदि के कारण लोगों को इसका लाभ नहीं मिल पाता।
बहुत सारे व्यक्ति ज्ञान के अभाव में भी ना तो स्वयं लाभान्वित होते हैं ना ही अपने समुदाय को लाभान्वित कर पाते हैं, इसलिए एक ऐसी व्यवस्था होनी चाहिए कि समाज की अंतिम पंक्ति में खड़ा व्यक्ति भी पूर्ण रूपेण स्वास्थ्य संबंधी अपने अधिकारों को जाने और प्राप्त करके लाभ ले सके। कार्यकारिणी सदस्य श्री अशोक शर्मा ने अपने उद्बोधन में कहा कि आज के कार्यक्रम में को स्वास्थ्य दिवस के रूप में आयोजित करना बहुत ही महत्वपूर्ण परिचर्चा है और अधिक से अधिक लोगों तक हमें यह मैसेज पहुंचाना है कि पर्यावरण की सुरक्षा तथा रासायनिक खाद्य पदार्थों से हम अपने आप को बचा के रखें जैविक खाद का प्रयोग ज्यादा करें और उसे उत्पादन से जो भी अनाज उपजेगा वह हमें निश्चित रूप से स्वस्थ रखेगा। इस अवसर पर वाइस चेयरमैन रेड क्रॉस सोसाइटी सह आई एम ए के अध्यक्ष डॉ राजेश सिंह ने कहा कि लोगों में स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता पैदा करना जरूरी है। रासायनिक उर्वरकों के प्रयोग की जगह जैविक खाद का प्रयोग, जल के स्रोत की कमी पर ध्यान देना और जल के स्रोत का उचित प्रबंधन भी स्वस्थ रहने में बहुत ही महत्वपूर्ण स्थान रखता है। संरक्षक डॉक्टर एस के रुंगटा द्वारा बताया गया की हम सबको यह कोशिश करनी चाहिए कि हम स्वयं तो स्वस्थ रहे ही अपने आसपास के वातावरण और व्यक्तियों को भी स्वस्थ रखें ।वर्तमान परिपेक्ष में रासायनिक खाद का प्रयोग रिफाइंड तेल और कोल्ड ड्रिंक सबसे ज्यादा हानिकारक है ।

प्रति परिवार में और समाज में जागरूकता और सावधानी के साथ-साथ अपने वजन को संतुलित रखना और नियमित व्यायाम करना जिससे कि मानसिक और शारीरिक दोनों ही स्वास्थ्य में संतुलन बना रहे यह बहुत ही जरूरी है ।आंखों पर विशेष ध्यान देने के लिए उन्होंने सुझाव दिया कि दिनभर गंदे हाथों से या गंदे कपड़े से आंखों को छुना या रगड़ना आंखों के लिए काफी हानिकारक होता है साथ ही साथ बहुत ज्यादा पानी के छीटे ते मारना भी आंखों को नुकसान पहुंचता है। आज की गोष्ठी में उपस्थित संरक्षक श्री हरेंद्र प्रसाद सिंह कार्यकारिणी सदस्य श्री अजीत प्रसाद मेहता,सिद्धार्थ सिंह बंटी श्री अशोक शर्मा डॉक्टर बीपी सिंह गुंजन कुमार प्रमुख रहे।सभी सदस्यों द्वारा यह संकल्प भी लिया गया कि वंचित वर्ग तथा सामान्य वर्ग तक हम में से प्रत्येक व्यक्ति जागरूकता फैलाकर उन्हें स्वास्थ्य संबंधी अधिकारों को प्राप्त करवाने में मदद करेगा और स्वयं भी अपने को जागरूक तथा पूर्ण रूपेण स्वस्थ रखने का प्रयास करेगा। विशेष रूप से टीकाकरण विभिन्न प्रकार के कैंसर एचआईवी तथा हेपेटाइटिस आदि पर जागरूक होना बहुत ही जरूरी महसूस की गई। गोष्ठी का समापन डॉ दिनेश प्रसाद सिन्हा के धन्यवाद ज्ञापन से हुआ। कार्यक्रम का संचालन डॉक्टर विभा कुमारी ने किया।