छोटी बात क्या होती है ?
बड़ी बात क्या होती है ?
जिसमे मिल जाएं आपके मेरे विचार ,
बस वही बात सबसे बड़ी बात होती है ।
बातों का संसार,मन का व्यवहार जीवन संस्कार,
सब बातों का आविष्कार ।
बातों का संदेश नया, देता जीवन को आकार नया
बात बने तो साथ बढ़ें,दुनिया भर का विस्तार बढ़े ।
बात ही ब्रह्म ,बात परब्रह्म बात में दिखे अखिल ब्रह्माण्ड
बात ने रचा महाभारत विश्राम ,बात ने दिया गीता कर्म का ज्ञान ।
बात बिना व्यर्थं जगजीवन ,बात बने तो सुख नवजीवन।मेरी बात ,आपकी बात ,हम सबकी बात ,
मिल जाए तो फिर क्या बात।बात बात में कितनी बात ,बिना बात है सबकुछ नाश।।
बात बात में इह जग मोहा,बात बात में मन सुख सोहा ।बात करे तो सब सुलभ सुहावा,
बिना बात कुप्रभाव बनावा ।।
बात करे सब संशय मिट जाएं ,
संशय बात भिन्नता उपजाए ।। रचनाकार (अभिलाषा )