You may also like
दुःख के बाद सुख और संकट के बाद सुविधा आना प्रकृति का अटल नियम है। हमें बस इतना समझना है कि संकट आने पर क्या करें-क्या न करें पढ़े
बात की महिमा अनंत अपार है । बात ही कारण और बात ही निराकरण है ऐसी परिभाषा है बात की । बात करने से ही सब संशय और भ्रम नष्ट हो जाते हैं। अधिकतर लोग अपने आप को छिपाने के लिए बात करने से पीछे रहते हैं। बात एक प्रकार की अभिव्यक्ति है। जो आपको बेबाक बना सकती है।
“अगर तुम समझती मेरी भाषा तो जीवन है हर पल एक प्यारी सी आशा … […]
हमारे आचरण और रहन-सहन में और भी ऐसी अनेक छोटी-बड़ी खराब आदतें शामिल हो गई हैं…